
Pune की ‘बरड’ ने जीता राज्यस्तरीय अटल करंडक
Pune's "Barad" wins the state-level Atal Karandak
पनवेल/सान्वी देशपांडे : पनवेल में आयोजित 12वीं राज्यस्तरीय अटल करंडक एकांकिका स्पर्धा इस वर्ष भव्यता, सांस्कृतिक झंकार और रंगकला के अविर्भाव से ओतप्रोत माहौल में सम्पन्न हुई। श्री रामशेठ ठाकूर सामाजिक विकास मंडळ, अखिल भारतीय मराठी नाट्य परिषद पनवेल शाखा तथा चंगू काना ठाकूर महाविद्यालय के संयुक्त विद्यमान से आयोजित इस प्रतिष्ठित प्रतियोगिता में पुणे की रंग पंढरी संस्था की एकांकिका ‘बरड’ ने उत्कृष्ट प्रदर्शन करते हुए प्रथम स्थान प्राप्त किया और मानाचा अटल करंडक अपने नाम किया। विजेता टीम को एक लाख रुपये, प्रमाणपत्र और करंडक भेंट किया गया।
इस वर्ष का सोहळा इसलिए भी विशेष रहा क्योंकि लोकनेते व माजी खासदार रामशेठ ठाकूर का अमृत महोत्सव वर्ष भी इसी अवसर पर मनाया गया। इस उपलक्ष्य में वरिष्ठ रंगकर्मी नीना कुलकर्णी और सुनील बर्वे को ‘गौरव रंगभूमीचा’ पुरस्कार देकर सम्मानित किया गया। दोनों विभूतियों को सन्मानचिन्ह, मानपत्र, शाल, श्रीफळ एवं 50,000 रुपये की राशि प्रदान की गई। मराठी रंगभूमी, चित्रपट व दूरदर्शन में उनके अमूल्य योगदान को पूरे सभागृह ने standing ovation के साथ सराहा।
पनवेल के क्रांतिकारी वासुदेव बलवंत फड़के थिएटर में हुआ तीन दिन का यह कॉम्पिटिशन अपनी सुंदरता, शानदार सजावट और खूबसूरत आयोजन के लिए आकर्षण का केंद्र रहा। एंट्रेंस पर लगी शानदार नटराज की मूर्ति ने पूरे समारोह को दिव्य बना दिया। रेड कार्पेट पर हुए स्वागत से एक्टर, गणमान्य लोग और दर्शक मंत्रमुग्ध हो गए।
पूरे राज्य से चुने गए 25 बेस्ट सिंगल्स प्लेयर्स ने फाइनल राउंड में हिस्सा लिया। कॉम्पिटिशन के जज थे—मशहूर एक्टर गिरीश ओक, डायरेक्टर प्रतिमा कुलकर्णी और एक्टर सुनील तावड़े। उन्होंने नई पीढ़ी के थीम सिलेक्शन, एक्टिंग की क्षमता और प्रेजेंटेशन की तारीफ करते हुए इसे मराठी थिएटर का उज्ज्वल भविष्य बताया।
अवार्ड डिस्ट्रीब्यूशन सेरेमनी शानदार तरीके से संपन्न हुई। मौजूद लोगों में MLA प्रशांत ठाकुर, अविनाश कोळी, गिरीश ओक, सुव्रत जोशी, प्रतिमा कुलकर्णी, जयवंत वाडकर, सामाजिक और सांस्कृतिक क्षेत्र की कई हस्तियां शामिल थीं।
इस कॉम्पिटिशन में पुणे के ‘बराड़’ के बाद डॉक्टर ग्रुप BMC हॉस्पिटल मुंबई के ‘सपन’ ने दूसरा स्थान और 75 हज़ार रुपये जीते। तीसरा इनाम ‘स्वातंत्र्य सौभाग्य’ (मुलुंड कॉमर्स कॉलेज) को मिला।
विशेष पुरस्कारों में—‘हॅशटॅग इनोसंट’, ‘किचकवध पुन्हा’, ‘प्रतीक्षायान’ आदि एकांकिकाओं ने आकर्षक छाप छोड़ी।
एकल पुरस्कारों में—
सर्वश्रेष्ठ दिग्दर्शक: निलेश गोपनारायण (‘हॅशटॅग इनोसंट’)
सर्वश्रेष्ठ अभिनेता: रघुनाथ बर्वे
सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री: ताईडी (‘बरड’)
सर्वश्रेष्ठ लेखक: सुनील पोपट डोंगरे (‘बरड’)
सर्वश्रेष्ठ संगीत: रोहित महादेव (‘बरड’)
कॉम्पिटिशन के ब्रांड एंबेसडर सुव्रत जोशी ने नए कलाकारों को प्रेरित किया और कहा कि ऐसे कॉम्पिटिशन कलाकारों के लिए प्रोफेशनल थिएटर में आने का सुनहरा दरवाज़ा खोलते हैं। लोकनेते रामशेठ ठाकुर ने भावुक शब्दों में कहा कि अटल करंडक ने पूरे राज्य में हज़ारों कलाकारों को एक मज़बूत प्लेटफ़ॉर्म दिया है और यह विरासत भविष्य में भी फलती-फूलती रहेगी।
यह तीन दिन का थिएटर फेस्टिवल जोश, कला, ह्यूमर और कल्चर का एक अनोखा संगम था और दर्शकों ने हाउसफुल रिस्पॉन्स दिया, जिससे प्रोग्राम यादगार बन गया।